Kashtbhanjan Dev Aarti Lyrics – सारंगपुर हनुमान जी आरती

कष्टभंजन हनुमान मंदिर एक हिंदू मंदिर है जो गुजरात के सारंगपुर में स्थित है। यहां हनुमानजी को महाराजाधिराज के नाम से भी जाना जाता है। इस मंदिर में हनुमानजी के दर्शन मात्र से ही बुरी बीमारियों, मानसिक और अन्य विकार दूर हो जाता हैं!

कष्टभंजन देव हनुमानजी .. जय कपि बलवंता हनुमान आरती..

जय कपि बलवन्त,
प्रभु जय कपि बलवन्त,
सुर नर मुनिजन वन्दित,
सुर नर मुनिजन वन्दित,
पडराज हनुमन्त,
जय कपि बलवन्त,
प्रभु जय कपि बलवन्त।।

प्रौढ़ प्रताप पवनसुत,
त्रिभुवन जयकारी,
प्रभु त्रिभुवन जयकारी,
असुर रिपु मद गंजन,
असुर रिपु मद गंजन,
भय संकट हारी,
जय कपि बावन्ता,
प्रभु जय कपि बलवन्ता।।

भूत पिशाच विकट ग्रह,
पीड़ित नहीं जम्पे,
प्रभु पीड़ित नहीं जम्पे,
हनुमंत हाक सुनने,
हनुमंत हाक सुनने,
थर थर थर कंपे,
प्रभु थर थर थर कंपे,
जय कपि बळवंता,
प्रभु जय कपि बलवंता।।

रघुवीर सहाय ओढंग्यो,
सागर अति भारी,
प्रभु सागर अति भारी,
सीता सोध ले आये,
सीता सोध ले आये,
कपि लंका जारी,
जय कपि बलवंता,
प्रभु जय कपि बलवंता।

राम चरण रतिदायक,
शरणागत त्राता,
प्रभु शरणागत त्राता,
प्रेमानंद कहे हनुमंत,
प्रेमानंद कहे हनुमंत,
शॅब्दी फल दाता,
जय कपि बलवंता,
प्रभु जय कपि बलवंता।।

जय कपि बलवंता,
प्रभु जय कपि बलवंता,
सुर नर मुनिजन वंदित,
सुर नर मुनिजन वंदित,
पद्मराज हनुमंतता,
जय कपि बलवंता,
प्रभु जय कपि बलवंता।।

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